केंद्रीय बजट 2024-25 पेश: शेयर बाजार में सुधार की उम्मीद
23 जुलाई 2024 को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने संसद में केंद्रीय बजट 2024-25 पेश किया। यह बजट कई महत्वपूर्ण आर्थिक मुद्दों पर केंद्रित है, जिनमें मध्यम वर्ग के लिए कर कटौती और ग्रामीण क्षेत्रों में राहत की महत्वपूर्ण योजनाएँ शामिल हैं।
इस बजट के प्रस्तुत होने के बाद से देश के आर्थिक क्षेत्र में नई उम्मीद जगी है। बजट प्रस्तुत करने के तुरंत बाद है, सेंसेक्स और निफ्टी में उल्लेखनीय सुधार देखा गया। बजट के निम्नलिखित समय में, प्रमुख सूचकांकों में वृद्धि की प्रवृत्ति देखी गई है। निफ्टी ने 24,568.90 अंकों पर शुरुआत की, जो 0.24% या 59.65 अंकों की वृद्धि दर्शाता है। दूसरी ओर, सेंसेक्स ने 80,724.30 अंकों के साथ शुरुआत की, जिसमें 0.27% या 222.22 अंकों की वृद्धि दर्ज की गई।
मध्यम वर्ग के लिए कर कटौती और ग्रामीण क्षेत्र में राहत
बजट की मुख्य प्राथमिकताओं में मध्यम वर्ग के लिए कर कटौती शामिल है, जो उन्हें वित्तीय राहत प्रदान करेगी। इसके साथ ही ग्रामीण विकास पर भी जोर दिया गया है। उम्मीद है कि इन नीतियों के प्रभाव से न केवल ग्रामीण क्षेत्र की आर्थिक स्थिति में सुधार होगा बल्कि देश की समग्र आर्थिक वृद्धि में भी महत्वपूर्ण योगदान मिलेगा।
आर्थिक विशेषज्ञों की राय
अर्थशास्त्री माधवी अरोड़ा ने इस बजट के संदर्भ में टिप्पणी करते हुए बताया कि यह बजट कमजोर राजनीतिक पूंजी, असमान वृद्धि, और कमजोर उपभोग जैसे मुद्दों के बीच आया है। उनके अनुसार, यह बजट इंफ्रास्ट्रक्चर विकास, रोजगार सृजन, और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को पुनर्जीवित करने पर केंद्रित रहेगा।
उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाली कंपनियाँ
बजट पेश किये जाने के बाद, बेंचमार्क सूचकांकों में उन कंपनियों का प्रदर्शन विशेष रूप से अच्छा रहा जोकि इंफ्रास्ट्रक्चर और ऊर्जा क्षेत्रों में अग्रणी हैं। इनमें अल्ट्राटेक सीमेंट्स 1.53% की वृद्धि के साथ ₹11692.15 पर, महिंद्रा एंड महिंद्रा 1.29% की वृद्धि के साथ ₹2840.40 पर, और एनटीपीसी 0.86% की वृद्धि के साथ ₹376.75 पर कारोबार कर रही थीं।
पूर्ववर्ती सूचकांक की स्थिति
बजट से एक दिन पहले, बेंचमार्क सूचकांकों में मामूली गिरावट दर्ज की गई थी। पिछले बंद होते समय सेंसेक्स 80,502.08 और निफ्टी 24,509.25 पर था। लेकिन बजट के बाद के सकारात्मक पहलुओं ने बाजार के मनोबल को ऊँचा किया, जिससे सुधार देखा गया।
कुल मिलाकर, यह बजट आर्थिक सुधार और वृद्धि के लिए मील का पत्थर साबित हो सकता है। इसमें कई महत्वपूर्ण घोषणाएँ की गई हैं, जो आने वाले समय में आर्थिक वृद्धि और वित्तीय स्थिरता में मददगार साबित हो सकती हैं।
Sarvasv Arora
ये बजट तो बस एक नए रंग का धोखा है। मध्यम वर्ग को कर कटौती? हाँ भाई, जब तक आपकी सैलरी 50K से ऊपर नहीं है, वो कटौती तुम्हारे लिए नहीं है। ग्रामीण राहत की बात? जब तक गाँव में पानी और बिजली की आपूर्ति नहीं होगी, तब तक ये सब बस फोटोशॉप की तस्वीरें हैं।
Jasdeep Singh
मैं तो इस बजट के अंदर के बजट को देख रहा हूँ - जिसमें इंफ्रास्ट्रक्चर पर 18% बढ़ोतरी का दावा किया गया है, लेकिन उसके 70% हिस्से बस एक बार फिर से राज्यों के लिए बजट अनुमान के रूप में डाला गया है, जो अब तक किसी ने नहीं खर्च किया। और फिर निफ्टी की 0.24% बढ़ोतरी को बड़ी बात बना दिया? ये बाजार तो बस फंड फ्लो और एफडीआई के अंतर्गत एक छोटे से ट्रेडिंग बूम की शुरुआत है, जो 15 दिन में गायब हो जाएगा। आप लोग तो अभी भी बजट के नाम से उत्साहित हैं - जबकि असली अर्थव्यवस्था तो घरेलू उपभोग के निर्माण और रोजगार के अभाव में फंसी हुई है।
Rakesh Joshi
भाईयों और बहनों, ये बजट भारत के लिए एक नया आयाम है! ग्रामीण विकास, इंफ्रास्ट्रक्चर, ऊर्जा - ये सब वो चीजें हैं जिन पर हमने सदियों से बात की है, और आज वो वास्तविकता बन रही हैं। अल्ट्राटेक, महिंद्रा, एनटीपीसी - ये कंपनियाँ भारत की ताकत हैं! ये बजट सिर्फ नंबर नहीं, ये एक भावना है - भारत के नए युग की शुरुआत। हम अपने आप को अंतरराष्ट्रीय नेता बनाने जा रहे हैं - और ये बजट उसका पहला कदम है। जय हिंद!
HIMANSHU KANDPAL
क्या आपने कभी सोचा है कि ये सब ‘बजट’ का नाम तो लगा दिया गया, लेकिन असली बात तो ये है कि जिन लोगों को इसकी जरूरत है - उनके लिए ये बजट एक बारिश की बूंद है जो बादलों में खो गई। मैं तो बस इंतजार कर रहा हूँ कि कब एक और ‘महत्वपूर्ण घोषणा’ आएगी जिसके बाद बाजार फिर से ऊपर जाएगा... और फिर अगले दिन वो गिर जाएगा। क्या हम इस चक्र से बाहर निकल पाएंगे? या हम बस एक बार फिर अपनी उम्मीदों को बजट के नाम पर बेच देंगे?
Arya Darmawan
ये बजट असल में बहुत अच्छा है - बिल्कुल निर्दिष्ट, स्पष्ट, और लक्ष्य-केंद्रित! बस एक बात - मध्यम वर्ग के लिए कर कटौती के तहत, जो लोग 7.5 लाख तक कमाते हैं, उन्हें 10% तक की छूट मिल रही है - ये बहुत बड़ी बात है! और ग्रामीण विकास के लिए 2.7 लाख करोड़ का बजट आवंटित किया गया है - जो भारत के 60% गाँवों को बिजली, सड़क, और डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर देगा! इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों का बढ़ा हुआ प्रदर्शन भी बहुत स्पष्ट संकेत है कि निवेश बढ़ रहा है! अगर आप लोग बस थोड़ा डेटा देखें, तो ये बजट असली ट्रेंड का प्रतिनिधित्व करता है - न कि सिर्फ बाजार के तात्कालिक उतार-चढ़ाव का!
Raghav Khanna
मैं इस बजट के संदर्भ में एक व्यापक विश्लेषण करना चाहूँगा। यह बजट, जिसने बाजार में एक सकारात्मक प्रतिक्रिया दर्ज की है, वह एक बहुआयामी दृष्टिकोण को अपनाता है, जिसमें सामाजिक सुरक्षा, आर्थिक समावेशन, और निवेश प्रोत्साहन के तत्व शामिल हैं। विशेष रूप से, मध्यम वर्ग के लिए कर सुधार और ग्रामीण विकास के लिए आवंटन दोनों ही लंबी अवधि के विकास के लिए आवश्यक हैं। यह एक स्थिर और स्थायी आर्थिक आधार की ओर एक उचित कदम है।
Rohith Reddy
बजट ने सेंसेक्स को बढ़ाया तो फिर भी बाजार तो अभी भी बेच रहा है अपने खुद के लोगों को निवेश के नाम पर... क्या आप भूल गए कि 2020 में भी ऐसा ही हुआ था? बजट के बाद बाजार ऊपर गया और फिर बिना किसी वजह के 40% गिर गया... ये सब एक बड़ा नियोजित फ्रॉड है जिसे वित्त मंत्रालय और बैंकों ने मिलकर चलाया है। आप लोग बस उनके लिए बाजार के खिलाड़ी बन रहे हैं। जब तक आप अपने पैसे को शेयर बाजार में नहीं निकाल लेते... तब तक आप बस एक बड़े खेल का हिस्सा हैं।